शनिवार, 15 अक्तूबर 2011

वो कचरा बीनती है

वह रोज़ सवेरे
सड़क पर आ जाती है
अपनी दूध पीती बच्ची
को
जुगाड़ के झूले में
लिटाकर
कचरा बीनने में लग जाती है

कागज़ का टुकड़ा
प्लास्टिक की बोतल
आपके, हमारे फेंके हुए
सरे बेकार सामान
उसके बड़े काम के होते हैं


आप - हम
पेट भरकर
जो रोटियां और रोटियों के टुकड़े
फेंक देते हैं
वही उसका पेट भरते हैं

वही बीन हुआ कचरा
वही बचा -खुचा खाना
उसका सारा परिवार चलाते हैं

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